अंतर्जातीय विवाह करने वाले जोड़े को धोबी समाज में शामिल किया प्रदेश अध्यक्ष ने दी स्वीकृति
रायपुर
धोबी समाज के नवयुवक रामनगर सुपेला निवासी सूरज निर्मलकर ने साहू समाज के बालिग कन्या से प्रेम हुआ किया था। इन लोगों ने आर्य समाज मंदिर में रजिस्टर्ड मैरिज भी की थी परंतु समाज में अंतरजाती विवाह को समाज का सबसे बड़ा अपराध माना जाता है जिसको अपनी गलती स्वीकार करते हुए इस प्रेमी जोड़े ने समाज के समक्ष गुहार लगाई थी। दुर्ग जिला समाज ने प्रदेश समाज को अनुशंसा पूर्वक समाज में शामिल करने का आग्रह किया, समस्त जानकारी प्राप्त करने के बाद प्रदेश अध्यक्ष सूरज निर्मलकर ने उक्त प्रेमी जोड़े को समाज में शामिल करने का निर्देश जारी किया। उक्त जानकारी देते हुए प्रदेश संगठन मंत्री नकुल निर्मलकर ने बताया इसके बारे में यह जानकारी मंगाई गई थी की लड़का हमारे धोबी जाति का है भी कि नहीं, जिसका आधार कार्ड, जाति प्रमाण पत्र सभी दस्तावेजों को सूक्ष्म जांच जिला अध्यक्ष गोपाल निर्मलकर के द्वारा किया गया और समाज में इश्तिहार जारी किया गया, तब जाकर के इन लोगों को समाज में शामिल किया गया। यह भी कहा गया कि इस प्रेमी जोड़े के आने वाले संतान धोबी जाति का कहलाएगा और समाज के हर सुख दुख सामाजिक आयोजन में भाग भी ले सकते हैं परंतु समाज के किसी पद से इन्हें नवाजा नहीं जाएगा। आज इस प्रेमी जोड़े को राजधानी के नातिन धोबिन दाई परिसर बोरिया खुर्द में प्रमाण पत्र देकर समाज में शामिल किया गया। इस अवसर पर प्रदेश महामंत्री महावीर कर्ष, रायपुर के जिला अध्यक्ष जगमोहन निर्मलकर, सुपेला परिक्षेत्र के पूर्व अध्यक्ष गौतम रजक एवं परिवारजन शामिल रहे। इस प्रेमी जोड़ा को एक पंगत भोजन स्थानीय समाज को सह सम्मान करने के लिए निर्देशित किया गया जिसके परिपालन में इस प्रेमी जोड़े द्वारा 3 सितंबर को सुपेला में ही आयोजन कर समाज जनों से आशीर्वाद प्राप्त करने प्रसादी भोजन व्यवस्था करने का वचन दिया गया।
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